डी 0आर0डी0ए0 सभागार, बाराबंकी में राज्य मंत्री, खाद्य एवं रसद व नागरिक आपूर्ति विभाग, उ0प्र0 सरकार श्सतीश चन्द्र शर्मा जी की अध्यक्षता में श्रम विभाग व यूनिसेफ के तत्वाधान में बाल संरक्षण जन जागरण कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया। सर्वप्रथम मंत्री व मुख्य विकास अधिकारी द्वारा दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया। उसके पश्चात मुख्य विकास अधिकारी एकता सिंह एवं सहायक श्रम आयुक्त, बाराबंकी मयंक सिंह द्वारा मंत्री को पुष्पगुच्छ देकर स्वागत किया गया। सहायक श्रम आयुक्त द्वारा बंकी ब्लाक के 20 ग्राम पंचायतों में आगामी 20 दिवसों में बाल श्रम, बाल हिंसा, बाल विवाह व बाल तस्करी के विरूद्ध संस्कार संस्था द्वारा आयोजित किये जाने वाले कार्यक्रम के विषय में विस्तृत जानकारी दी गई। इसके उपरान्त सहायक श्रम आयुक्त द्वारा बाल श्रम कुप्रथा के विरुद्ध विधिक समाधान- बाल एवं किशोर श्रम (प्रतिषेध एवं विनियमन) अधिनियम,1986 यथा संशोधित 2016 के विषय में अवगत कराया। जिसके अंतर्गत 14 वर्ष तक की आयु के बच्चों से काम लिए जाने पर पूर्ण प्रतिबंध लगाते हुए इसे शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 से जोड़ा गया हैं। 14 से 18 आयु वर्ग में गैर खतरनाक श्रेणी में कार्य लिया जाना विनियमित किया गया हैं। जबकि श्रेणी एक में अंकित खतरनाक व्यवसायो(जैसे विनिर्माण प्रक्रिया, ऑटोमोबाइल वर्कशाप, माइनिंग, फायर वर्क, बिल्डिंग एवं कंस्ट्रक्शन इंडस्ट्री इत्यादि में प्रतिबंधित हैं। अधिनियम के अंतर्गत खतरनाक श्रेणी में किये जाने वाले अपराध में न्यूनतम 06 माह व अधिकतम 02 वर्ष की सजा का प्रावधान हैं। न्यूनतम रुपया 20,000/-व अधिकतम रुपया 50,000 का जुर्माना अथवाा दोनो का प्राविधान हैं। इसके उपरान्त सहायक श्रम आयुक्त द्वारा बाल संरक्षण हेतु चलाई जा रही विभिन्न योजनाओं जैसे- बाल श्रमिक विद्या योजना, अटल आवासीय विद्यालय, नया सवेरा योजना एवं संत रविदास शिक्षा प्रोत्साहन योजना इत्यादि के विषय में अवगत कराया। इसके उपरांत टेक्निकल रिसोर्स पर्सन यूनिसेफ द्वारा पास्को एवं जे0जे0 एक्ट के प्रावधानों के संबंध में अवगत कराया गया। इसके उपरान्त संस्कार संस्था द्वारा एक बाल संरक्षण के संबंध में एक नुक्कड़ नाटक का प्रस्तुतिकरण किया गया। इसके उपरान्त मंत्री जी द्वारा बाल श्रम, बाल तस्करी, बाल हिंसा एवं बाल विवाह के विरूद्ध संगठित होकर समस्त विभागों को एक साथ आकर इस कुप्रथा को समाप्त किये जाने के संबंध में सभी अधिकारियों को निर्देशित किया गया।मंत्री जी के उद्बोधन के पश्चात मुख्य विकास अधिकारी द्वारा श्रम विभाग, शिक्षा विभाग(बेसिक एवं माध्यमिक), महिला एवं बाल कल्याण विभाग, समाज कल्याण विभाग, पंचायती राज विभाग, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग, पुलिस विभाग, सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग, व्यावसायिक शिक्षा विभाग के जिला स्तरीय अधिकारियों द्वारा समन्वय स्थापित कर बाल संरक्षण के संबंध में प्रभावी कार्यवाही किये जाने हेतु निर्देशित किया गया। अन्त में मंत्री द्वारा बाल श्रमिक विद्या योजना के 05 लाभार्थी बच्चों एवं 10 उ0प्र0 भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण बोर्ड के निर्माण श्रमिकों को हितलाभ प्रमाण-पत्र वितरित किया एवं उन्हें आशीर्वाद दिया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *