जब 3 साल पहले मैंने पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे का शिलान्यास किया था,तो ये नहीं सोचा था कि एक दिन उसी एक्सप्रेस वे पर विमान से मैं खुद उतरूंगा. यह बात प्रधानमंत्री ने आज सुल्तानपुर में 341 किलोमीटर लम्बे उस पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे के उद्घाटन पर कही जिसका आज सुबह सपा कार्यकर्ताओं ने सांकेतिक रूप से उद्घाटन कर दिया, इस मौके पर उन्होंने समाजवादी प्रमुख पर भी निशान साधा कि अखिलेश को मेरे बराबर खड़े होने में भी डर लगता है.
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उन्होंने हमेशा की तरह पिछली सरकारों को कोसते हुए कहा कि पिछली सरकारों ने पूर्वी उत्तर प्रदेश को ‘माफियावाद’ और गरीबी के हवाले कर दिया था, भाजपा सरकार अब विकास का नया अध्याय लिख रही है.इस एक्सप्रेसवे बनने से अवध, पूर्वांचल के साथ साथ बिहार के लोगों को भी लाभ होगा. बिहार से दिल्ली आना अब आसान हो जाएगा. इस एक्सप्रेसवे की विशेषता यही नहीं है कि यह यूपी के कुछ खास जिलों को जोड़ेगा, इसकी विशेषता यह है कि यह लखनऊ से उन स्थानों को जोड़ेगा जहां विकास की बहुत अधिक संभावना है. यह एक्सप्रेसवे भविष्य में लाखो करोड़ो के उद्योगों को यहां लाने का साधन बनेगा.यह एक्सप्रेसवे गरीबों, मध्य वर्ग और किसानों के लिए फायदेमंद साबित होगा.
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उन्होंने कहा कि जो अपने समय में असफल रहे, वो योगीजी की सफलता नहीं देख पा रहे हैं. जो सफलता देख नहीं पा रहे हैं, वो इसे कैसे पचा पाएंगे. मोदी ने कहा कि उनका विचलित होना स्वाभाविक है. मोदी ने कहा कि दुर्भाग्य रहा कि दिल्ली और लखनऊ दोनों ही जगहों पर, परिवारवादियों का ही दबदबा रहा. सालों साल तक परिवारवादियों की यही पार्टनरशिप यूपी की आकांक्षाओं को कुचलती रही.
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मोदी ने कहा कि आज यूपी में डबल इंजन की सरकार यूपी के सामान्य जन को अपना परिवार मानकर काम कर रही है. यहां जो कारखाने लगे हैं, जो मीलें हैं, उनको चलाने के साथ-साथ नए निवेश के लिए माहौल बना रही है. यूपी में आज सिर्फ 5 साल की योजना नहीं बन रही, बल्कि इस दशक की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए, इन्फ्रास्ट्रक्चर बनाया जा रहा है. पूर्वी और पश्चिमी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर से यूपी को पूर्वी और पश्चिमी समुद्री तट से जोड़ने के पीछे यही सोच है. किसानों का सामना दुनिया के बाजारों तक पहुंच पाएगा.